उन्नाव हादसा: मासूम की कोशिशें, एक परिवार की आखिरी रात, और अनदेखी सावधानियों का कड़ा सबक

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अनुज कुमार वर्मा

ब्यूरो– सिद्धि टुडे, उन्नाव

उन्नाव के बांगरमऊ में हुई हृदयविदारक घटना ने एक परिवार की खुशियों को पल भर में छीन लिया। एक मासूम बच्चे की बहादुरी और कोशिशें भी इस त्रासदी को रोक नहीं सकीं। मां और दो बच्चों की इस दर्दनाक मौत ने हर किसी को झकझोर दिया है।

मौत का कारण बना ‘स्लो प्वाइजन’

सोमवार रात एक कमरे में जल रही अंगीठी, जो सर्दी से राहत देने का साधन मानी जाती है, मौत की वजह बन गई। बंद कमरे में अंगीठी के जलने से निकलने वाली कार्बन मोनोऑक्साइड गैस ने पूरे परिवार को अपनी चपेट में ले लिया। जहरीली गैस ने कमरे की ऑक्सीजन खत्म कर दी, जिससे दम घुटने से मां रचना (35), बेटा वैभव (7), और बेटी वैष्णवी (4) की मौत हो गई।

मासूम वैभव की संघर्षपूर्ण कोशिशें

पोस्टमार्टम रिपोर्ट से खुलासा हुआ कि सात साल के वैभव ने अपनी और परिवार की जान बचाने की पूरी कोशिश की। उसकी अंगुलियां झुलसी मिलीं, जो यह दर्शाती हैं कि उसने अंगीठी बुझाने का प्रयास किया। पास में एक खाली गिलास और दवा की शीशी भी मिली, जो इस दर्दनाक संघर्ष की कहानी कहती है।

रात के सन्नाटे में मौत ने दी दस्तक

खाना खाने के करीब तीन घंटे बाद, रात दस बजे, जहरीली गैस का असर शुरू हुआ। जब तक स्थिति बिगड़ी, तीनों सो रहे थे और कोई मदद नहीं पहुंच पाई। पुलिस के अनुसार, सुबह दूध पहुंचाने आए मेवालाल ने दस्तक दी थी, लेकिन कोई जवाब न मिलने पर वह लौट गया।

एक परिवार, जो अब अधूरा है

रचना अपने मायके में इकलौती बेटी थी और ससुराल में बच्चों के साथ खुशहाल जिंदगी जी रही थी। परिवार के इकलौते बेटे वैभव और छोटी बेटी वैष्णवी की मौत ने पूरे परिवार को गहरे शोक में डाल दिया है। उनके ससुर सुंदर सिंह ने कहा, “बच्चों को पढ़ाने के लिए शहर में रखा था। नहीं सोचा था कि यही उनकी आखिरी जगह बन जाएगी।”

एफएसओ की चेतावनी: सावधानी बरतें, जान बचाएं

फूड सेफ्टी ऑफिसर शिवराम यादव ने लोगों को आगाह किया कि बंद कमरे में अंगीठी, हीटर या ब्लोअर का उपयोग करना जानलेवा हो सकता है। उन्होंने सलाह दी कि कोयला पूरी तरह जल जाने के बाद ही अंगीठी कमरे में रखें। साथ ही, खिड़की या दरवाजा खुला छोड़ें और कमरे में वेंटिलेशन सुनिश्चित करें।

सवाल जो उठते हैं

क्या हम छोटी-छोटी सावधानियों को नज़रअंदाज कर अपने परिवार को खतरे में डाल रहे हैं?

क्या सर्दियों में इस्तेमाल होने वाले उपकरणों के सही उपयोग पर जागरूकता की कमी है?

यह हादसा हर परिवार के लिए एक चेतावनी है। जीवन अमूल्य है, और छोटी-छोटी सावधानियां इसे बचा सकती हैं।